कानपुर देहात
महिला व दो मासूम बच्चों को जलाकर हत्या मामले में बहस पूरी
शनिवार को इस मामले की माननीय अपर जिला जज प्रथम श्री रजत सिन्हा की अदालत मेंहुई बहस
कानपुर देहात । करीब चार साल पहले अकबरपुर क्षेत्र के नेहरू नगर में पूर्व सभासद की पत्नी व दो मासूम बच्चों की जलाकर हत्या कर देने के मामले में शनिवार को दोनों पक्षों ने अपनी बहस पूरी की,अब अदालत ने मामले में निर्णय के लिए 11 मार्च की कानपुर देहात
महिला व दो मासूम बच्चों को जलाकर हत्या मामले में बहस पूरी
शनिवार को इस मामले की माननीय अपर जिला जज प्रथम श्री रजत सिन्हा की अदालत मेंहुई बहस
कानपुर देहात । करीब चार साल पहले अकबरपुर क्षेत्र के नेहरू नगर में पूर्व सभासद की पत्नी व दो मासूम बच्चों की जलाकर हत्या कर देने के मामले में शनिवार को दोनों पक्षों ने अपनी बहस पूरी की,अब अदालत ने मामले में निर्णय के लिए 11 मार्च की तिथि नियत की है।
अकबरपुर कोतवाली क्षेत्र के वार्ड नं 14 नेहरू नगर निवासी पूर्व सभासद जीतेंद्र यादव की शिक्षिका पत्नी अर्चना , पांच साल की पुत्री अक्षिता व पंद्रह माह के पुत्र की उनके मकान में रहने वाले तत्कालीन समय में पुलिस विभाग में सिपाही उषा देवी के पति अवनीश प्रजापति ने खुन्नस में 28 फरवरी 2021की रात डीजल डाल आग लगा कर भाग निकला था।दूसरे दिन दौरान चिक्तिसा शिक्षिका अर्चना व दोनों मासूमों की मौत हो गई थी वहीं।पुलिस ने मामले की विवेचना करते हुए अर्चना के मृत्यु कालिक बयान व अन्य साक्ष्यों के आधार पर 3 मार्च 2023 को आरोपी अवनीश प्रजापति को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था इसके साथ ही उसके खिलाफ आरोप पत्र अदालत में पेश किए थे।मामले की सुनवाई माननीयअपर जिला जज प्रथमश्री रजत सिन्हा की अदालत में चल रही है।मामले में अभियोजन गवाही समाप्त हो चुकी है। शनिवार को अदालत में मामले में फाइनल बहस दौरान बचाव पक्ष ने पुलिस विवेचना सही न होने के साथ ही मृत्यु कालिक बयान विधि अनुसार नहीं होने का तर्क रखा इसके साथ ही यह भी तर्क दिया कि गंभीर अपराधों में घटना का उद्देश्य भी बड़ा होना चाहिए परन्तु इस घटना में अभियोजन की ओर से किसी उद्देश्य को साबित नहीं किया गया है। वहीं बचाव पक्ष की दलीलों का खंडन करते हुए ए डी जी सी प्रदीप पांडेय ने अदालत में उच्चतम न्यायालयों की नजीरों को पेश कर कहा कि डायरेक्ट एविडेंस के मामले में उद्देश्य महत्वहीन होता है इसके साथ ही फोटो आदि से आरोपी द्वारा घटना को अंजाम देने के बाद उसके मौके से भाग जाने के तथ्यों को रखा।अब अदालत ने मामले में निर्णय के लिए 11 मार्च की तिथि नियत की है।तिथि नियत की है।
अकबरपुर कोतवाली क्षेत्र के वार्ड नं 14 नेहरू नगर निवासी पूर्व सभासद जीतेंद्र यादव की शिक्षिका पत्नी अर्चना , पांच साल की पुत्री अक्षिता व पंद्रह माह के पुत्र की उनके मकान में रहने वाले तत्कालीन समय में पुलिस विभाग में सिपाही उषा देवी के पति अवनीश प्रजापति ने खुन्नस में 28 फरवरी 2021की रात डीजल डाल आग लगा कर भाग निकला था।दूसरे दिन दौरान चिक्तिसा शिक्षिका अर्चना व दोनों मासूमों की मौत हो गई थी वहीं।पुलिस ने मामले की विवेचना करते हुए अर्चना के मृत्यु कालिक बयान व अन्य साक्ष्यों के आधार पर 3 मार्च 2023 को आरोपी अवनीश प्रजापति को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था इसके साथ ही उसके खिलाफ आरोप पत्र अदालत में पेश किए थे।मामले की सुनवाई माननीयअपर जिला जज प्रथमश्री रजत सिन्हा की अदालत में चल रही है।मामले में अभियोजन गवाही समाप्त हो चुकी है। शनिवार को अदालत में मामले में फाइनल बहस दौरान बचाव पक्ष ने पुलिस विवेचना सही न होने के साथ ही मृत्यु कालिक बयान विधि अनुसार नहीं होने का तर्क रखा इसके साथ ही यह भी तर्क दिया कि गंभीर अपराधों में घटना का उद्देश्य भी बड़ा होना चाहिए परन्तु इस घटना में अभियोजन की ओर से किसी उद्देश्य को साबित नहीं किया गया है। वहीं बचाव पक्ष की दलीलों का खंडन करते हुए ए डी जी सी प्रदीप पांडेय ने अदालत में उच्चतम न्यायालयों की नजीरों को पेश कर कहा कि डायरेक्ट एविडेंस के मामले में उद्देश्य महत्वहीन होता है इसके साथ ही फोटो आदि से आरोपी द्वारा घटना को अंजाम देने के बाद उसके मौके से भाग जाने के तथ्यों को रखा।अब अदालत ने मामले में निर्णय के लिए 11 मार्च की तिथि नियत की है।